रायपुर, 18 अक्टूबर। छत्तीसगढ़ में आज सुबह ईडी की टीम ने रायगढ़ कलेक्टर रानू साहू के मायके में दबिश दी है। आज सुबह पांच बजे पहुंचे ईडी के अधिकारी गरियाबंद के पाण्डुका में कई घरों में जांच कर रहे हैं। 12 अधिकारियों की एक टीम ने पहले पाण्डुका में गरियाबंद की जिला पंचायत सदस्य लक्ष्मी साहू और कांग्रेस नेता शैलेंद्र साहू का दरवाजा खटखटाया। पहले तो परिवार वालों ने टीम को अंदर नहीं आने दिया लेकिन कुछ देर बाद टीम घर के अंदर चली गई।

उसके बाद टीम वहां जांच कर रही है। लक्ष्मी साहू कलेक्टर रानू साहू की मां हैं वहीं शैलेंद्र साहू उनके चचेरे भाई हैं।
गौरतलब हो कि प्रदेश में एक सप्ताह से सर्च ऑपरेशन चला रही प्रवर्तन निदेशालय ने जांच का दायरा बढ़ा दिया है। उसके टारगेट में रायगढ़ की कलेक्टर रानू साहू हैं। ईडी के अधिकारियों ने आज कलेक्टर रानू साहू के मायके में दबिश दी है। बताया जा रहा है कि मैनपुर में एक 12 एकड़ के तालाब के भी इस परिवार के नाम होने की जानकारी सामने आई थी क्योंकि इसकी प्रारंभिक रजिस्ट्री में परिवार का नाम था। इस एंगल पर भी जांच की जा रही है। ईडी की एक टीम बड़े सर्च ऑपरेशन के तौर पर 11 अक्टूबर की सुबह छत्तीसगढ़ के 40 से अधिक ठिकानों पर छापेमारी की थी।

कोयला ढुलाई से जुड़ा नेटवर्क को तोड़ने और शिकायतों के आधार पर एजेंसी ने रायपुर के आलावा कोरबा, रायगढ़, महासमुंद, भिलाई पर ध्यान केंद्रित किया। जांच में रायगढ़ कलेक्टर रानू साहू नहीं मिलीं तो उनका सरकारी बंगला सील कर दिया गया। बाद में रायगढ़ कलेक्टर रानू साहू हैदराबाद से लौटने पर अपने सरकारी लेटर हेड पर ईडी के जांच अधिकारी को पत्र लिखकर कहा था कि वे जांच में सहयोग करेंगी। रानू साहू ने बताया था कि 10 अक्टूबर से वे अवकाश पर थीं। उनका हैदराबाद के यशोदा अस्पताल में इलाज चल रहा था। वहां उनका एक माइनर ऑपरेशन भी हुआ। अब वे रायगढ़ में आ गई हैं तथा पूर्ण पारदर्शिता से प्रशासनिक कार्य करती हैं। उन्होंने आश्वस्त किया था कि ईडी की जांच में उनकी ओर से पूर्ण सहयोग दिया जाएगा।
विदित हो कि छत्तीसगढ़ में एक के बाद एक ईडी की कार्रवाई पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने सवाल उठाए और कहा था कि बीजेपी सीधे नहीं लड़ पा रही है तो ईडी-आईटी के माध्यम से लड़ने की कोशिश कर रही है। दूसरी तरफ 12 अक्टूबर को रानू साहू ने रायगढ़ पहुंचकर ईडी के जांच अधिकारी को तलाशी के लिए आमंत्रित किया। बाद में उनके बंगले और रायगढ़ कलेक्ट्रेट की भी विस्तृत तलाशी ली गई है। वहां से ईडी की टीम लौट आई। ईडी की एक बड़ी टीम ने सीआरपीएफ के सुरक्षा घेरे के साथ 12 अक्टूबर मंगलवार तड़के छत्तीसगढ़ के कई जिलों में फैले 40 ठिकानों पर एक साथ दबिश दी। जांच में में रायगढ़ कलेक्टर रानू साहू का सरकारी आवास भी था। उसके अलावा खनिज विभाग के संचालक आईएएस जेपी मौर्या, चिप्स के मुख्य कार्यपालन अधिकारी समीर विश्नोई, पूर्व विधायक अग्नि चंद्राकर सहित कोयला और परिवहन कारोबार से जुड़े तमाम व्यापारियों और चार्टर्ड अकाउंटेंट के यहां छापा पड़ा। रायगढ़ में रानू साहू नहीं मिली तो एजेंसी ने उनके सरकारी आवास को सील कर दिया था। आज कलेक्टर के मायके में ईडी टीम जांच कर रही है।