सीजी न्यूज ऑनलाइन, 23 सितंबर। कुरुद को मगरलोड से जोडने वाला महानदी पर बने पुल के तीन पिल्लर गिरने के बाद प्रशासन ने इसमें वाहनों की आवाजाही पर रोक लगा दी है।
गौरतलब है कि नब्बे के दशक में तत्कालीन विधायक स्व. दीपा साहू के प्रयास से महानदी पर मेघा पुल का निर्माण कराया गया था। इस पुल के बनने से मगरलोड, नगरी, गरियाबंद क्षेत्र में कुरुद की कन्केक्टिविटी बढ़ी। जिससे वन क्षेत्रों में विकास की किरणें फूटने लगी थी। लेकिन रेत माफियाओं ने क्षेत्र की इस अनमोल धरोहर को भी नहीं छोड़ा। शनिवार रात गाड़ाडीह और मेघा के बीच महानदी पर बने पुल के तीन पिल्लर गिर गए, नीचे का सपोर्ट खत्म हो जाने से पुल में दरार आ गई।
मौके पर पहुंचे अधिकारियों ने स्थिति की गंभीरता से लेते हुए पुल से वाहनों की आवाजाही पर रोक लगा दी है।
मौके पर मौजूद वरिष्ठ भाजपा नेता शिव प्रताप ठाकुर, नारायण साहू कांग्रेस के लकेश्वर साहू ने कहा कि अभी तक तो हमने बिहार में पुल गिरने की बात सुनी थी, लेकिन अब छत्तीसगढ़ में भी इसकी
शुरुआत हो गई है। इसकी असली वजह रेत माफिया हैं।
नियम विरुद्ध पुल के आसपास से खनिज माफिया धड़ल्ले से रेत उत्खनन कर रहे थे, तब नेता और अधिकारियों ने इसकी चिंता नहीं की अब इसका खामियाजा आम लोगों को उठाना पड़ेगा।
इस मामले में पीडब्ल्यूडी के अनुविभागीय अधिकारी आरएस गंभीर ने बताया कि तीन पिल्लर गिरने से पुल में क्रेक आ गया है। जिसके चलते भारी वाहनों पर रोक लगा दी गई है। इस नुकसान की वजह पूछने पर उन्होंने बताया कि पूर्व में हमने आसपास हो रहे खनिज उत्खनन पर रोक लगाई थी। फाउंडेशन कमजोर होने के चलते पिल्लर धंसका है। एडीबी एवं ब्रिज के विशेषज्ञ अधिकारी भी मौके पर पहुँच गये हैं, जांच के बाद ही स्थिति स्पष्ट होगी।